मंगलवार, 18 फ़रवरी 2020

आचार्य रजनीश 'ओशो' # 3

############ ॐ ############### 

तुम शरीर को ही 'मैं' मान लेते हो और तब तुम पीड़ा पाते हो।  अहंकार वह सब कुछ है जो तुम नहीं हो और तुम सोचते हो की तुम हो। अहंकार सदा दुःख में ले जाता है। जब तुम स्वभाव की सुनते हो , यह बात तुम्हे स्वास्थ्य की ओर ले जाती है।  संतोष की ओर , मौन की ओर , आनंद की ओर |


############ ॐ ###############

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